Bureaucracy नौकरशाही – लंबे समय तक वह वेबर के तर्कसंगत नौकरशाही मॉडल ने बड़े व आधुनिक संगठनों में सामाजिक विज्ञान के विचारों पर प्रभुत्व बनाए रखा। वेबर कहते हैं कि नौकरशाही में समस्याओं का हल नौकरशाही के आदर्श रूप को अपनाने की प्रक्रिया से हो जाता है परंतु दूसरे विश्व युद्ध में वेबर के यह विचार असफल हो गए।
समाजशास्त्री कहते हैं वह वेबर संगठन में होने वाले कई मुद्दे जैसे विवाद ,नियमों की अवहेलना और आदेश की एकता का पालन ना होने वाली स्थितियों को नजरअंदाज करते हैं।
Table of Contents विषय सूची
नौकरशाही के 10 दोष ( Bureaucracy Disadvantage in Hindi )
आलोचकों के अनुसार नौकरशाही किसी संगठन में बीमारी की तरह है। इसमें कुछ ऐसी प्रवृत्तियां है जो इसके निष्पादन में दोष पैदा करती है जो निम्नलिखित है –
घुमावदार रास्ते ( Circumlocution )
घुमावदार रास्ते ( Circumlocution in Bureaucracy) – नौकरशाही की आलोचना का मुख्य आधार यह है कि इसमें लंबे और घुमावदार रास्तों के कारण कार्य होने में बहुत देर लगती है। प्रत्येक सरकारी कागज ऊपर से चलकर सबसे नीचे के विभाग तक पहुंचता है और फिर नीचे से ऊपर की ओर जाता है। कभी-कभी तो निर्णय लेने में इतनी देरी हो जाती है कि उसका महत्व भी समाप्त हो जाता है।
लाल फीताशाही ( Red Tapism )
लाल फीताशाही ( What is Red Tapism in Hindi ) – लाल फीताशाही नौकरशाही का एक और दोष है जिसका अर्थ नियमों और विनियमों पर अंधों की तरह पालन करना है। रोबर्ट .के. मर्टन के अनुसार लाल-फीताशाही और अकार्यकुशलता प्रक्रिया को बिना सोचे समझे अपनाने से आती है।
मामलों को सुलझाने के लिए पूर्व दृष्टांत तो को देखना गलत नहीं है परंतु नियमों और दृष्टांतो का कट्टर पालन निश्चित तौर पर कार्यकुशलता को प्रभावित कर देता है क्योंकि तब निर्णय गुणवत्ता की जगह नियमों पर आधारित होते हैं।
यह भी पढ़े –
- Personnel Administration: कार्मिक प्रशासन का क्षेत्र
- Personnel Administration : अर्थ ,विशेषताएँ और उदेश्य
औपचारिकता ( Formalism )
औपचारिकता ( Meaning of Formalism in Hindi ) – नौकरशाही में दोष का एक और कारण औपचारिकता से ज्यादा लगाव है। औपचारिकता अपने आप में गलत नहीं होती। यह अधिकारियों को कम समय और कम कीमत में सभी तथ्य समझा देती है।
अनुत्तरदायी ( Unresponsiveness )
अनुत्तरदायी ( Unresponsiveness Bureaucracy ) – नौकरशाही परिवर्तन की विरोधी है तथा लोगों की मांगे जो सदा परिवर्तन चाहती है के प्रति यह अपेक्षा का भाव रखती है। नौकरशाही अपने आप में एक संस्था है जो आत्म निर्भर है। नौकरशाही अपने आप को सबसे श्रेष्ठ और अलग वर्ग समझती है। अधिकारी लोगों की तरफ ध्यान देने की जगह विशिष्टीकरण, तकनीकों और बौद्धिकता पर ज्यादा ध्यान देते हैं ।
सभी तरह के कार्यों के लिए उचित ना होना ( Not Suitable for all kinds of Tasks )
सभी तरह के कार्यों के लिए उचित ना होना ( Not Suitable for all kinds of Tasks ) – नौकरशाही कुछ कार्यों में अन्य कार्यों से ज्यादा बेहतर है । नौकरशाही उद्योगों में काम करने के लिए ,तकनीकों में लगातार परिवर्तन होने के कारण उपयुक्त नहीं है। यह नैत्यक कार्यों के लिए सबसे उपयुक्त है जिनमें शीघ्रता से परिवर्तन नहीं आता।
यह भी पढ़े –
- Personnel Administration: कार्मिक प्रशासन की प्रकृति
- Personnel Administration : कार्मिक प्रशासन के मौलिक सिद्धांत
संकीर्णता ( Conservatism )
संकीर्णता ( Meaning of Conservatism in Hindi ) – नौकरशाही के सदस्य संकीर्णता एवं रीति-रिवाजों के समर्थक हैं । वें नवीनता और विकास के प्रति विरोधी भावना रखते हैं। जो व्यवहार प्रचलित परंपराओं के अनुकूल है तथा जिसका पालन करने की उन्हें आदत पड़ गई है उसे नौकरशाही के सदस्य उचित मानते हैं।
भ्रष्टाचार ( Corruption )
भ्रष्टाचार ( Corruption in Bureaucracy in Hindi )- भारतीय नौकरशाही में सबसे बड़ा दोष भ्रष्टाचार है। नौकरशाही के ढांचे में यह जड़ पकड़ चुका है। इसमें कर्मचारी किसी कार्य को करने के लिए पैसा लेते हैं ,चुनाव में जीतने के लिए प्रत्याशी पैसे का प्रयोग करते हैं और जब वह चुने जाते हैं तो वह गोपनीय ढंग से भ्रष्टाचार को नौकरशाही में बढ़ाते हैं।
साम्राज्य रचना ( Empire Building )
साम्राज्य रचना ( Meaning of Empire Building in Hindi ) – ऐसा देखा गया है कि नौकरशाही में सरकार कार्यों को विभागों में बांट देती है जो अपने आप को अंतिम सीमा मान लेते हैं और अपने ही कार्यों में मस्त रहते हैं। यह विभाग अपने आप को स्वतंत्र विभाग मान कर चलते हैं। यह बड़े संगठन का हिस्सा बनने की जगह छोटे साम्राज्य के रूप में कार्य करते हैं।
यह भी पढ़े –
- Pressure Groups in India -12 विभिन्न दबाव -समूहों के नाम
- Pressure Groups: दबाव समूहों के कार्य , महत्व एवं उपयोगिता
शक्ति प्रेम ( Lust for Power )
शक्ति प्रेम ( Lust for Power in Bureaucracy ) – नौकरशाही की आलोचना का मुख्य कारण शक्ति प्रेम भी है। ऐसा देखा गया है कि यह विधानपालिका और न्यायपालिका की शक्तियां हड़पने से भी नहीं कतराती।
इसमें सरकारी सेवाओं में ज्यादा से ज्यादा शक्तियां सरकार के हाथों में होती है जिसमें नियमों का निर्माण और न्यायिक और अर्ध न्यायिक शक्तियां आदि शामिल होती है।
वर्ग चेतना ( Class Consciousness )
वर्ग चेतना ( Class Consciousness in Bureaucracy ) – नौकरशाही का सबसे बड़ा दोष यह है कि इसमें अधिकारी अपने आप को आम व्यक्ति की तुलना में श्रेष्ठ समझते हैं। वह आम आदमी से संबंध बनाना और बातचीत करना अपनी शान के खिलाफ समझते हैं।
वह अपने आप को सामाजिक ढांचे में डाल नहीं पाते और खुद को लोक सेवक की जगह लोगों का मालिक समझते हैं। वह अपने को मंत्रियों से भी श्रेष्ठ समझते हैं और उम्मीद करते हैं कि वे उनकी हर बात माने यहां तक कि नीति निर्माण के मामलों में भी जो कि उनकी शक्तियों से बाहर है।
यह भी पढ़े –
- Future of Democracy in India भारतीय लोकतंत्र का भविष्य
- Indian Democracy: भारतीय लोकतंत्र की समस्यांए- चुनौतियां
नौकरशाही के दोषों को दूर करने के लिए सुझाव ( Remedies or Suggestions to Remove Defects of Bureaucracy in Hindi )
नौकरशाही में कई दोष पाए जाते हैं परंतु इनको कुछ रचनात्मक व सुधारात्मक कदमों के द्वारा ठीक किया जा सकता है जो कि निम्नलिखित है –
- नौकरशाही की शक्तियों को विकेंद्रित करने के लिए कदम उठाने चाहिए ताकि उसकी शक्तियों को सीमा के भीतर रखा जा सके।
- नौकरशाही पर संसद और मंत्रिमंडल का प्रभाव पूर्ण राजनीतिक नियंत्रण रहना चाहिए ताकि उसके द्वारा संभावित शक्ति के दुरुपयोग पर रोक लगाई जा सके।
- मंत्रियों का व्यक्तित्व शक्तिशाली होना चाहिए और लोक सेवाओं के हाथों में कठपुतली की तरह नहीं होना चाहिए।
- ऐसे प्रशासनिक न्यायाधिकरण होने चाहिए जहां सामान्य नागरिक लोक सेवकों के विरुद्ध अपनी शिकायतें रख सके और उनका उपचार पा सके।
- लोक सेवकों का चयन और उन्नति योग्यता के आधार पर होनी चाहिए।
- एक अच्छी शिक्षा व्यवस्था विकसित होनी चाहिए ताकि लोग अपने अधिकारों के प्रति जागरूक हो सके और नौकरशाही के बढ़ रहे भ्रष्टाचार का सामना कर सके ।
- मीडिया नौकरशाही पर रोकथाम के लिए प्रभावशाली भूमिका निभा सकता है। निष्पक्ष प्रैस भ्रष्ट अधिकारियों के गर्दन पर रखी हुई एक छूरी है।
- लोगों और नौकरशाही के बीच में प्रभावशाली संचार व्यवस्था होनी चाहिए ताकि नागरिकों का नौकरशाही के प्रति प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष नियंत्रण हो।
निष्कर्ष ( Conclusion )
नौकरशाही एक आवश्यक तथ्य हैं । छोटे से छोटे स्तर की सरकार भी प्रोग्राम और नीतियों को प्रशासित करती है। नौकरशाही की मुख्य दुविधा लोकप्रिय शासन लाना है। जब नौकरशाही को सत्ता दी जाती है तो इसलिए ताकि वह शांति, सुरक्षा, आर्थिक सुरक्षा या स्थि कर सके। जब एक सरकारी नौकरशाही सत्ता का प्रयोग करती है तो लोगों की आजादी निश्चित रूप से कम हो जाती है।
यह भी पढ़े –
- Parliamentary System: भारतीय संसदीय प्रणाली के 12 दोष
- Indian Parliamentary System : दोषों को दूर करने के सुझाव
FAQ Checklist
साम्राज्य रचना का अर्थ क्या हैं ?
साम्राज्य रचना ( Meaning of Empire Building in Hindi ) – ऐसा देखा गया है कि नौकरशाही में सरकार कार्यों को विभागों में बांट देती है जो अपने आप को अंतिम सीमा मान लेते हैं और अपने ही कार्यों में मस्त रहते हैं। यह विभाग अपने आप को स्वतंत्र विभाग मान कर चलते हैं। यह बड़े संगठन का हिस्सा बनने की जगह छोटे साम्राज्य के रूप में कार्य करते हैं।
वर्ग चेतना से क्या तात्पर्य हैं ?
वर्ग चेतना ( Class Consciousness in Bureaucracy ) – नौकरशाही का सबसे बड़ा दोष यह है कि इसमें अधिकारी अपने आप को आम व्यक्ति की तुलना में श्रेष्ठ समझते हैं। वह आम आदमी से संबंध बनाना और बातचीत करना अपनी शान के खिलाफ समझते हैं।
भ्रष्टाचार से क्या तात्पर्य हैं ?
भ्रष्टाचार ( Corruption in Bureaucracy in Hindi )- भारतीय नौकरशाही में सबसे बड़ा दोष भ्रष्टाचार है। नौकरशाही के ढांचे में यह जड़ पकड़ चुका है। इसमें कर्मचारी किसी कार्य को करने के लिए पैसा लेते हैं ,चुनाव में जीतने के लिए प्रत्याशी पैसे का प्रयोग करते हैं और जब वह चुने जाते हैं तो वह गोपनीय ढंग से भ्रष्टाचार को नौकरशाही में बढ़ाते हैं।
नौकरशाही के अनुत्तरदायी होने के क्या कारण हैं ?
अनुत्तरदायी ( Unresponsiveness Bureaucracy ) – नौकरशाही परिवर्तन की विरोधी है तथा लोगों की मांगे जो सदा परिवर्तन चाहती है के प्रति यह अपेक्षा का भाव रखती है। नौकरशाही अपने आप में एक संस्था है जो आत्म निर्भर है। नौकरशाही अपने आप को सबसे श्रेष्ठ और अलग वर्ग समझती है। अधिकारी लोगों की तरफ ध्यान देने की जगह विशिष्टीकरण, तकनीकों और बौद्धिकता पर ज्यादा ध्यान देते हैं ।
संकीर्णता का अर्थ क्या हैं ?
संकीर्णता ( Meaning of Conservatism in Hindi ) – नौकरशाही के सदस्य संकीर्णता एवं रीति-रिवाजों के समर्थक हैं । वें नवीनता और विकास के प्रति विरोधी भावना रखते हैं। जो व्यवहार प्रचलित परंपराओं के अनुकूल है तथा जिसका पालन करने की उन्हें आदत पड़ गई है उसे नौकरशाही के सदस्य उचित मानते हैं।
औपचारिकता क्या होती हैं ?
औपचारिकता ( Meaning of Formalism in Hindi ) – नौकरशाही में दोष का एक और कारण औपचारिकता से ज्यादा लगाव है। औपचारिकता अपने आप में गलत नहीं होती। यह अधिकारियों को कम समय और कम कीमत में सभी तथ्य समझा देती है।
लाल फीताशाही क्या हैं ?
लाल फीताशाही ( What is Red Tapism in Hindi ) – लाल फीताशाही नौकरशाही का एक और दोष है जिसका अर्थ नियमों और विनियमों पर अंधों की तरह पालन करना है। रोबर्ट .के. मर्टन के अनुसार लाल-फीताशाही और अकार्यकुशलता प्रक्रिया को बिना सोचे समझे अपनाने से आती है।
नौकरशाही के दोष बताएं।
इसमें कुछ ऐसी प्रवृत्तियां है जो इसके निष्पादन में दोष पैदा करती है जो निम्नलिखित है –
1.संकीर्णता 2.लाल फीताशाही 3.अनुत्तरदायी 4.औपचारिकता 5.भ्रष्टाचार
नौकरशाही के दोषों को दूर करने के लिए तीन सुझाव।
1.नौकरशाही की शक्तियों को विकेंद्रित करने के लिए कदम उठाने चाहिए ताकि उसकी शक्तियों को सीमा के भीतर रखा जा सके। 2.लोक सेवकों का चयन और उन्नति योग्यता के आधार पर होनी चाहिए। 3. मीडिया नौकरशाही पर रोकथाम के लिए प्रभावशाली भूमिका निभा सकता है। निष्पक्ष प्रैस भ्रष्ट अधिकारियों के गर्दन पर रखी हुई एक छूरी है।
नौकरशाही के संस्थापक कौन है?
नौकरशाही के सबसे प्रमुख सिद्धांतवादी जर्मन समाजशास्त्री मैक्स वेबर (1864-1920) हैं, जिन्होंने नौकरशाही की आदर्श विशेषताओं का वर्णन किया और नौकरशाही संस्थानों के ऐतिहासिक उद्भव के लिए एक स्पष्टीकरण की पेशकश की।
नौकरशाही का निष्कर्ष बताएं।
नौकरशाही एक आवश्यक तथ्य हैं । छोटे से छोटे स्तर की सरकार भी प्रोग्राम और नीतियों को प्रशासित करती है। नौकरशाही की मुख्य दुविधा लोकप्रिय शासन लाना है। जब नौकरशाही को सत्ता दी जाती है तो इसलिए ताकि वह शांति, सुरक्षा, आर्थिक सुरक्षा या स्थि कर सके। जब एक सरकारी नौकरशाही सत्ता का प्रयोग करती है तो लोगों की आजादी निश्चित रूप से कम हो जाती है।
नौकरशाही कैसे बनती हैं ?
संघीय नौकरशाही में कैबिनेट विभाग, स्वतंत्र एजेंसियां, सरकारी निगम और स्वतंत्र नियामक आयोग शामिल हैं।
और पढ़ें –
- India-SriLanka Relationship : भारत-श्रीलंका सम्बन्ध
- India-Nepal Relationship :नेपाल तथा भारत में सम्बन्ध
- India-China: भारत-चीन संबंध इतिहास से वर्तमान तक